4 Rakat Farz Namaz Ka Tarika – 4 रकात फर्ज़ नमाज़ पढ़ने का सही तरीका

नमाज़ मोमिन की जिंदगी का सबसे अहम हिस्सा है। अल्लाह तआला ने हर मुसलमान पर दिन में 5 वक्त की नमाज़ फर्ज़ की है। इन नमाज़ों में कई वक्त पर 4 रकात फर्ज़ नमाज़ पढ़ी जाती है।

बहुत से लोग अक्सर कंफ्यूज़ रहते हैं कि 4 रकात फर्ज़ नमाज़ का सही तरीका क्या है? इसे अकेले पढ़ते वक्त और जमात के साथ पढ़ते वक्त क्या फर्क होता है?

अगर आप भी यही जानना चाहते हैं तो इस आर्टिकल को आखिर तक पढ़ें। इंशाअल्लाह यहां से आपको पूरा स्टेप बाय स्टेप गाइड मिलेगा और उसके बाद आपको कहीं और देखने की ज़रूरत नहीं पड़ेगी।


🌙 4 Rakat Farz Namaz Ka Tarika (Complete Guide)

फर्ज़ नमाज़ को अदा करने के दो तरीके हैं:

  • अकेले में
  • जमात में

नीचे दोनों तरीकों को डिटेल और आसान अल्फ़ाज़ में बताया गया है।


🕌 अकेले में 4 रकात फर्ज़ नमाज़ का तरीका

🔹 पहली रकात

  • नियत करें, नीचे दी गई नियत देखें।
  • तकबीर-ए-तहरीमा कहकर हाथ बांध लें।
  • सना सुब्हान क अल्लाहुम्मा… पढ़ें।
  • तअव्वुज अउजुबिल्लाह… पढ़ें।
  • तस्मियह बिस्मिल्लाह… पढ़ें।
  • सूरह फातिहा पूरी पढ़ें और आहिस्ता से आमीन कहें।
  • कोई भी सूरह पढ़ें।
  • अल्लाहु अकबर कहकर रुकूअ करें।
  • यहाँ 3–7 बार सुब्हान रब्बियल अज़ीम पढ़ें।
  • समिअल्लाहु लिमन हमिदह कहते हुए उठें और रब्बना लकल हम्द पढ़ें।
  • सज्दा करें और सुब्हान रब्बियल अला पढ़ें।
  • उठकर बैठें, फिर दूसरा सज्दा करें।
  • अब दूसरी रकात के लिए खड़े हो जाएं।

🔹 दूसरी रकात

  • सिर्फ अउजुबिल्लाह और बिस्मिल्लाह पढ़ें।
  • सूरह फातिहा और कोई सूरह पढ़ें।
  • रुकूअ और सज्दा पहले जैसा करें।
  • दूसरे सज्दे के बाद बैठकर तशह्हुद अत्तहिय्यात पढ़ें।
  • ला पर उंगली उठाएं और इल्ला पर गिरा दें।
  • फिर तीसरी रकात के लिए खड़े हो जाएं।

🔹 तीसरी रकात

  • सिर्फ सूरह फातिहा पढ़ें यहां सूरह मिलाना ज़रूरी नहीं।
  • बाकी अमल रुकूअ और सज्दा पहले जैसा करें।
  • चौथी रकात के लिए खड़े हो जाएं।

🔹 चौथी रकात

  • सूरह फातिहा पढ़ें। सूरह मिलाना ज़रूरी नहीं।
  • रुकूअ और सज्दा करें।
  • दूसरे सज्दे के बाद बैठें और अत्तहिय्यात पढ़ें।
  • चौथी रकात में भी ला पर उंगली उठाएं और इल्ला पर गिरा दें।
  • अब दुरूद-ए-इब्राहीम और दुआ-ए-मसूरा पढ़ें।
  • आखिर में दाएं फिर बाएं सलाम फेरें।

यहां आपकी 4 रकात फर्ज़ नमाज़ मुकम्मल हो जाती है।


🕌 इमाम के पीछे 4 रकात फर्ज़ नमाज़ का तरीका

✨ पहली रकात

  • नियत करें और इमाम के पीछे तकबीर बांध लें।
  • सना पढ़ें।
  • इमाम सूरह फातिहा और सूरह पढ़ेंगे, आप खामोश रहें।
  • इमाम रुकूअ और सज्दा करें तो आप उनके साथ करें।

✨ दूसरी रकात

  • यहां भी आप सिर्फ खामोश रहें, इमाम का पढ़ना सुनें।
  • बाकी रुकूअ और सज्दा में वही अमल करें।
  • दूसरे सज्दे के बाद बैठकर तशह्हुद पढ़ें।
  • ऊँगली यहाँ भी ला पर खड़ा करना होता है।

✨ तीसरी रकात

  • इमाम पढ़ेंगे, आप खामोश रहें।
  • उनके साथ रुकूअ और सज्दा करें।

✨ चौथी रकात

  • तीसरी रकात की तरह।
  • आखिरी में बैठकर अत्तहिय्यात, दुरूद-ए-इब्राहीम और दुआ-ए-मसूरा पढ़ें।
  • इमाम के सलाम फेरने पर आप भी सलाम फेरें।

अब आपकी जमात के साथ 4 रकात फर्ज़ नमाज़ मुकम्मल हो गई।


🌙 4 रकात फर्ज़ नमाज़ की नियत

ज़ोहर की 4 रकात फर्ज़ नमाज़ की नियत
नियत की मैंने 4 रकात फर्ज़ नमाज़ ज़ोहर की, वास्ते अल्लाह तआला के, मुंह मेरा काबा शरीफ़ की तरफ़, अल्लाहु अकबर।

असर की 4 रकात फर्ज़ नमाज़ की नियत
नियत की मैंने 4 रकात फर्ज़ नमाज़ असर की, वास्ते अल्लाह तआला के, मुंह मेरा काबा शरीफ़ की तरफ़, अल्लाहु अकबर।

ईशा की 4 रकात फर्ज़ नमाज़ की नियत
नियत की मैंने 4 रकात फर्ज़ नमाज़ ईशा की, वास्ते अल्लाह तआला के, मुंह मेरा काबा शरीफ़ की तरफ़, अल्लाहु अकबर।

अगर आप जमात में हैं, तो “अल्लाह तआला के बाद पीछे इस इमाम के” जोड़ लें।


FAQs

फर्ज नमाज़ में क्या क्या पढ़ना जरूरी है?

सूरह फातिहा, सूरह (जहां ज़रूरी हो), तस्बीह, अत्तहिय्यात, दुरूद-ए-इब्राहीम और दुआ-ए-मसूरा।

क्या इमाम के पीछे सूरह पढ़ना चाहिए?

नहीं, इमाम के पीछे सूरह पढ़ना मना है।


🕋 अंतिम लफ्ज़

अब आपको 4 रकात फर्ज़ नमाज़ का सही तरीका मालूम हो गया। इसे अमल में लाएं और दूसरों को भी सिखाएं ताकि सब लोग सही तरीके से नमाज़ अदा कर सकें।

अगर आपको कहीं कोई कमी या गलती लगे तो हमें ज़रूर बताएं, हम इंशा अल्लाह उसे सुधारेंगे। अल्लाह तआला हमें नमाज़ को सही और खशूओ-खुज़ू के साथ अदा करने की तौफीक़ अता फरमाए।